आज की चर्चा का विषय है राज्यसभा में पूछा गया सवाल और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव का जवाब। सवाल यह था कि क्या WhatsApp2 को बंद करने की खबर सही है? यह सवाल सांसद श्री विवेक केतनखा ने 26 जुलाई को पूछा था। उन्होंने जानना चाहा कि क्या सरकार के किसी निर्देश के चलते WhatsApp अपनी सेवाएं बंद करने वाला है?
मंत्री जी ने जवाब में स्पष्ट किया कि सरकार ने किसी भी डायरेक्शन के तहत ऐसा कोई निर्देश नहीं दिया है। लेकिन, WhatsApp की मुख्य कंपनी Meta ने अप्रैल 2024 में दिल्ली हाई कोर्ट में एक याचिका दाखिल की थी, जिसमें उन्होंने भारत के नए आईटी नियमों के खिलाफ अपनी आपत्ति दर्ज कराई थी।
WhatsApp के 2.7 बिलियन एक्टिव यूजर्स हैं और यह 100 से अधिक देशों में संचालित होता है। मई 2024 के आंकड़ों के अनुसार, भारत में 53 करोड़ मंथली यूजर्स हैं। भारतीय सरकार ने 2021 में IT एक्ट्स के तहत नए नियम जारी किए थे, जिसमें सोशल मीडिया इंटरमीडियरीज को यह सुनिश्चित करना था कि वे किसी भी आपत्तिजनक सामग्री के पहले ओरिजिनेटर की पहचान करें।
सरकार का यह कदम इसलिए उठाया गया क्योंकि सोशल मीडिया पर फैलने वाली फेक न्यूज़ और अफवाहों के कारण कई बार दंगे भड़कते हैं और अव्यवस्था फैलती है। इसलिए, सरकार ने यह मांग की थी कि WhatsApp और अन्य मैसेजिंग सेवाएं यह सुनिश्चित करें कि वे पहले ओरिजिनेटर की जानकारी प्रदान कर सकें।
हालांकि, WhatsApp का कहना है कि उनका सिस्टम एंड-टू-एंड एन्क्रिप्टेड है और वे ओरिजिनेटर की जानकारी प्रदान नहीं कर सकते। इस पर सरकार और WhatsApp के बीच विवाद जारी है और दिल्ली हाई कोर्ट में इस मुद्दे पर सुनवाई हो रही है।
सरकार का उद्देश्य केवल सुरक्षा सुनिश्चित करना है और फेक न्यूज़ को रोकना है। इसीलिए, यह आवश्यक है कि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स सरकार के नियमों का पालन करें और देश की सुरक्षा में अपना योगदान दें।