पीएम श्री योजना और समग्र शिक्षा अभियान पर चर्चा हो रही है। हाल ही में केंद्र सरकार ने दिल्ली, पंजाब और बंगाल को समग्र शिक्षा अभियान के तहत दी जाने वाली फंडिंग रोक दी है। इसका मुख्य कारण है कि ये राज्य पीएम श्री योजना में इंटरेस्ट नहीं ले रहे थे।
पीएम श्री योजना (प्रधानमंत्री स्कूल फॉर राइजिंग इंडिया)
प्रधानमंत्री स्कूल फॉर राइजिंग इंडिया (पीएम श्री योजना) के तहत उच्च गुणवत्ता वाले मॉडल स्कूल बनाए जाते हैं जो अन्य स्कूलों के लिए आदर्श बनें। ये स्कूल निम्नलिखित सुविधाओं से लैस होंगे:
- अत्याधुनिक टेक्नोलॉजी
- सोलर पैनल्स और ग्रीन एनर्जी
- डिजिटल क्लासरूम
- वॉटर कंजर्वेशन सिस्टम्स
- आधुनिक विज्ञान प्रयोगशालाएं और लाइब्रेरी

केंद्र सरकार 2022 से 2027 के बीच इस योजना पर 27,360 करोड़ रुपये खर्च करेगी, जिसमें राज्यों के साथ 60:40 के अनुपात में फंडिंग होगी। हिमालयी और विशेष राज्य 90:10 अनुपात में फंडिंग प्राप्त करेंगे।
समग्र शिक्षा अभियान
समग्र शिक्षा अभियान 2018 में शुरू हुआ, जिसमें पहले से चल रही तीन योजनाओं को मिलाकर एक व्यापक योजना बनाई गई:
- सर्व शिक्षा अभियान
- राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान
- टीचर्स एजुकेशन
इस योजना का उद्देश्य है:
- प्री-स्कूल से लेकर 12वीं कक्षा तक की शिक्षा को सुधारना
- शिक्षकों का प्रशिक्षण और विकास
- स्कूल इंफ्रास्ट्रक्चर का सुधार
2021 से 2026 के बीच 3 लाख करोड़ रुपये खर्च करने का बजट रखा गया है, जिसमें 11 लाख सरकारी और एडेड स्कूलों को फंडिंग मिलेगी।
विवाद का कारण
केंद्र सरकार ने जिन राज्यों को समग्र शिक्षा अभियान की फंडिंग रोकी है, उनका कहना है कि पीएम श्री योजना में शामिल होने के लिए राज्य सरकारें अपनी समस्याएं और तर्क दे रही हैं। उदाहरण के लिए:
- दिल्ली और पंजाब ने कहा कि उन्होंने पहले से ही उच्च गुणवत्ता वाले स्कूल बनाए हैं और उन्हें पीएम श्री योजना की आवश्यकता नहीं है।
- पश्चिम बंगाल ने कहा कि उनके पास बजट की कमी है, जिससे वे 40% हिस्सेदारी नहीं दे सकते।
केंद्र ने कहा है कि यदि ये राज्य पीएम श्री योजना में भाग नहीं लेते हैं तो उनकी समग्र शिक्षा अभियान की फंडिंग भी रोक दी जाएगी।
इससे यह स्पष्ट होता है कि केंद्र और राज्य सरकारों के बीच शिक्षा नीति को लेकर मतभेद हैं। पीएम श्री योजना और समग्र शिक्षा अभियान के बीच संतुलन बनाना आवश्यक है ताकि सभी राज्यों को शिक्षा के क्षेत्र में सुधार के समान अवसर मिल सकें।